पुलिस की घेरा बन्दी कर दिव्यांगजनो को शान्ति मार्च निकलने से रोका

 

 

सरकार दिव्यांगजन को आत्म हत्या के लिए मजबूर कर रही है दिव्यांग अभिषेक इसका प्रमाण है|

 

दिव्यांग महागठबन्धन के तत्वावधान दिव्यांग संगठनों का लेखपाल पद पर चयनित दिव्यांगजनों को नियुक्ति पत्र जारी कराने, दिव्यांगजन को नौकरी, रोजगार, स्वास्थ, शिक्षा सुरक्षा की सौ फीसदी गारन्टी दिलाने, दिव्यांगजन अधिनियम 2016 लागू करवाने, दिव्यांग पेंशन 5 हजार रूपया करने व दिव्यांग उत्पीड़न की रिपोर्ट दर्ज करने की मांग को लेकर ईको गार्डेन से मुख्यमंत्री कार्यालय तक शान्ति मार्च निकाला जाना था | जिसे पुलिस ने घेरा बन्दी करके रोक दिया| पुलिस मुख्यमंत्री के ओ.एस.डी.से मुलाकात करवा कर मांगो का ज्ञापन दिलाया|

ओ.एस.डी. द्वारा दिव्यांग महागठबन्धन के पदाधिकारियों को न्यायालय जाने के लिये कहे जाने पर भड़क गये| दिव्यांग महागठबन्धन के महासचिव वीरेन्द्र कुमार ने कहा कि नौ माह से लेखपाल पद पर चयनित दिव्यांगजन ईको गार्डेन मे धरना अनशन कर रहे हैं| दिव्यांग अभिषेक नौकरी न मिलने से सदमें में आकर आत्महत्या कर लिया| इसकी जिम्मेदार सरकार है| सरकार दिव्यांगजन को आत्महत्या के लिये उकसा रही है| चयन होने के बाद भी सरकार द्वारा नियुक्ति पत्र न देना अन्याय है| दिव्यांग महागठबन्धन दिव्यांगजनो के अधिकारों को दिलाने के लिए सड़क पर उतरेगी और चुनाव में अपने वोट की ताकत सरकार को दिखायेगी|आज वार्ता करने वालों में महागठबन्धन के अध्यक्ष मनीष प्रसाद, महासचिव वीरेन्द्र कुमार, कोषाध्यक्ष जितेन्द्र वर्मा, अजीत कुमार, आनन्द तिवारी, रामनिहाल ध्दिवेदी, हिमालय सिंह, तन्यमय श्रीवास्तव शामिल थे|आन्दोलन मे कांग्रेस विकलांग प्रकोष्ठ के राजकुमार, अकरम अली, धर्मवीर , राष्ट्रीय दिव्यांग पार्टी के राहुल कुमार, अशोक कुमार, दिव्यांग विकास सोसाइटी राजेन्द्र, मनोज , विकलांग विधवा सेवा समिति विनोद गुप्ता, ज्योती फाउण्डेशन के संदीप सैनी, भारतीय जागृति मिशन के अनुप राजवंसी,भारतीय दिव्यांग सेवा समिति के धर्मवीर आदि शामिल थे|

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