वतन से मोहब्बत करने वाले मुसलमान पाकिस्तान और दावते इस्लामी का करें मुकम्मल बायकॉट:सूफी कौसर मजीदी।
कानपुर नगर। जम्मू कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद सारे देश में उबाल है,28 पर्यटकों की नृशंस हत्या से इंसानियत से मोहब्बत करने वाले शदीद गम और गुस्से में हैं,देश के कोने कोने से आतंकियों के सफाए की मांग की जा रही है,और आतंक के जन्मदाता पाकिस्तान पर कार्रवाई की मांग की जा रही है,इसी क्रम में भारत के सूफियों के अग्रणी संगठन सूफ़ी खानकाह एसोसिएशन द्वारा,एक बार फिर पहलगाम मामले में वक्तव्य जारी किया गया है,जुमा के खुतबे के दौरान खानकाह फ़ैज़िया मजीदिया कानपुर नगर से बयान जारी करते हुए, सूफी खानकाह एसोसिएशन राष्ट्रीय अध्यक्ष सूफी मोहम्मद कौसर हसन मजीदी ने कहा कि,जम्मू कश्मीर के पहलगाम में आतंकी हमले में हमारे हम वतनी भाइयों की हलाकत तकलीफ देने वाली है,ये हमारे मुल्क की ग़ैरत पर हमला है, उन्होंने कहा कि पिछले 75 सालों से हमारे सबसे ज़लील पड़ोसी पाकिस्तान ने लगातार ज़ख्म पर ज़ख्म दिए हैं, उन्होंने कहा कि ये बात काबिल ए जिक्र है कि 1971 की शिकस्त के बाद पाकिस्तान की सेना ने कहा था कि “हम भारत को इतने ज़ख़्म देंगे कि उसके हर हिस्से से खून बहेगा” जिस पर अमल करते हुए पाकिस्तान लगातार भारत की अखंडता पर हमला करता चला आ रहा है।
उन्होंने कहा कि एक हिंदुस्तानी के नाते हमे भी अपने मुल्क के साथ खड़े होकर पाकिस्तान की मुखालफत करनी चाहिए, उन्होंने कहा कि इजराइल की फलिस्तीन पर ज़ुल्म ओ बरबरियत की बिना पर उसके बायकॉट के ऐलान किए जाते हैं,तो क्या हमारे मुल्क के बेगुनाह शहरियों का खून बहाने वाले पाकिस्तान का बायकॉट नहीं होना चाहिए?
उन्होंने कहा कि क्या हमारे ऊपर ज़ुल्म ज़ुल्म नहीं है? क्या हमारे मुल्क के लोगों का ख़ून ख़ून नहीं है?
उन्होंने कहा कि हम वतन से मोहब्बत करने वाले हर मुसलमान से आज जुमा के खिताब में ये अपील करते हैं कि वो पाकिस्तान का बायकॉट करें, पाकिस्तान की बदनाम ज़माना दहशतगर्द मुल्लों इलियास और ज़लाली की तंजीम दावते इस्लामी का बायकॉट करें, उन्होंने कहा कि यह वही दावते इस्लामी है जिसने धांधुका गुजरात में, उदयपुर में और अमरावती में कत्ल करवाए,और ये वही ज़लील मुल्ला ज़लाली है,जिसने कश्मीर में जिहाद के फतवे देकर बेगुनाहों का खून बहाने में मदद की है।
उन्होंने कहा कि हम हुकूमत ए हिंद से भी मांग करते हैं कि दावते इस्लामी पर पाबंदी लगाई जाए, ज़लाली को आतंकी घोषित करते हुए उसके भारतीय समर्थकों पर कड़ी कार्रवाई की जाए।