कानपुर
इंसान को बेदार तो हो लेने दो
हर कौम पुकारेगी हमारे हैं हुसैन
आज मोहर्रम की 7 तारीख पर इमाम बारगाहों, मस्जिदों, इमाम चौक और घरों के इमामबाड़ों में हजरत कासिम की मेहंदी सजाई गयी। मलीदा और फलों पर फातिहा दिलाई गयी और मजलिसों में हज़रत कासिम की शहादत पर रोशनी डाली गयी।
इमाम हुसैन ने जो इंसानियत का पैगाम दिया था उस रास्ते पर चलने के लिये लोगो को बेदार किया गया, आपको बता दें इमाम हुसैन और उनके 72 साथियों को कर्बला के मैदान में भूख और प्यास शहीद कर दिया गया था जिसकी याद में सबिले और लंगर यानी भंडारे का आयोजन किया गया जो रिजर्व बैंक के सामने लगाया गया जहां सभी धर्म के लोगों ने भंडारे में शिरकत करी, कार्यक्रम के आयोजक हैदर नकवी ने कहा कि हुसैनीअत का पैगाम इंसानियत ही है इस भंडारे का प्रसाद संतोषी माता मंदिर के अंदर बनाया जाता है